रुपया खत्म रिश्ता खत्म।।
रूपया हैं तो सब अपना हैं
रुपया नहीं तो सब सपना है।।
रुपया हैं तो पद और पदवी हैं
रुपया बिना इज्जत भी गिरवी हैं।।
रूपया हैं तो मान सम्मान है
रुपया बिना खुद नहीं पहचान है।।
रूपया हैं तो बहुरुपिया है
रुपया बिना घर भी खुफिया है।।
रुपया हैं तो बहुत दोस्त यार हैं
रुपया बिना कहता ये गंवार हैं।।
रूपया हैं तो सब मानता है
रुपया बिना बीबी का कहां सुनता है।।
रुपया हैं तो सारा जहान है
दुनिया कहता बहुत महान है।।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
kumartarunyadav673@gmail.com